मुंह दबाकर ब्लेड से रेत दी गर्दन… दुष्कर्म के बाद इसलिए किया था छात्रा का कत्ल; दरिंदे को फांसी की सजा

फतेहपुर: यूपी के फतेहपुर में दुष्कर्म के बाद छात्रा की ब्लेड से गला काटकर हत्या करने वाले दरिंदे को कोर्ट ने बुधवार को मृत्युदंड की सजा सुनाई। एडीजे/फास्ट ट्रैक कोर्ट के जज अशोक कुमार ने महज तीन साल में फैसला दिया है। इसके साथ ही साक्ष्य छिपाने में सहयोग करने वाले दोस्त और एक अन्य दोस्त की मां को भी सात साल की सजा दी गई है।
कानपुर देहात साढ़ थाना क्षेत्र के एक गांव की रहने वाली 19 वर्षीय युवती टीईटी परीक्षा की तैयारी कर रही थी। वह जहानाबाद में एक कोचिंग में पढ़ाई कर रही थी। 30 मई 2022 को कोचिंग के बाद उसका शव जहानाबाद में खैराबाद के जंगल से मिला था।
पोस्टमार्टम रिपोर्ट में शरीर पर ब्लेड के 24 घाव मिले थे। तब गला कटने से मौत की बात सामने आई थी। काफी बवाल व हंगामे के बाद पुलिस ने पिता की तहरीर पर अजय व उसके अन्य साथियों के खिलाफ छात्रा को अगवा कर सामूहिक दुष्कर्म के बाद हत्या की रिपोर्ट दर्ज कराई थी।
जांच में दुष्कर्म की पुष्टि हुई। कोर्ट ने बुधवार को अजय को फांसी की सजा सुनाई। उसके गांव के दोस्त अवनीश उर्फ छोटू सोनकर व दूसरे दोस्त की मां माया देवी पत्नी चंद्रशेखर कुरील निवासी द्वारिकापुर जट्ठ थाना जहानाबाद को सात साल की कैद व 11-11 हजार रुपये अर्थदंड से दंडित किया है। दोस्त पर कत्ल की घटना छिपाने व महिला को साक्ष्य छिपाने में दोषी पाया गया।
पूरी रात किया गया था हाईवे जाम
फतेहपुर में छात्रा की निर्मम हत्या से लोगों का गुस्सा फूटा था। जहानाबाद स्टेट हाईवे पर 30 मई की रात कई बार जाम लगाया गया था। पुलिस के सामने शांति व्यवस्था बनाए रखना चुनौती साबित हुई थी। प्रशासन ने भी सरकार से रासुका की सिफारिश की थी। घटना की पूरी रात हंगामे के बाद 31 मई को भी प्रदर्शन हुआ था।
छात्रा का शव देखने वाले सिहर गए थे। आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं होने पर कई दिनों तक हंगामा चला था। विभिन्न दलों के नेताओं ने सीबीआई जांच कराने की मांग की थी। जिला प्रशासन ने भी मामले में रासुका लगाने की शासन तक सिफारिश की थी। हालांकि रासुका की संस्तुति शासन से नहीं हो सकी थी। रासुका की सिफारिश पर तत्कालीन डीएम अपूर्वा दुबे और एसपी राजेश कुमार सिंह के बयान दर्ज हुए थे।